शिक्षा नीति पर अंतिम मसविदा जारी

नई दिल्ली. MHRD राष्ट्रीय  शिक्षा नीति के प्रारुप को अंतिम रुप दे रहा है| AIFUCTO हमेशा से जातांत्रिक,धर्मनिरपेक्ष,वैज्ञानिक और समावेशी शिक्षानीति के लिए प्रतिबद्ध रहा है| AIFUCTO ने शिक्षा नीति पर अपने विचार और सुझाव MHRD को विस्तार से दिया है| परन्तु आश्चर्यजनक और अत्यंत ही चिंताजनक है कि हाल में जारी शिक्षा नीति के मसविदा मे जनाकांक्षाओं और भावनाओं को पूर्णतः नकार दिया गया है| शिक्षा नीति पर जो अंतिम मसविदा MHRD द्वारा जारी किया गया है वह घोर आपत्तिजनक और जनविरोधी है|


राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर MHRD के हाल के कदमों के आलोक में AIFUCTO ने पिछले महीने चंडीगढ़ में संपन्न राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में  जनविरोधी शिक्षा नीति के खिलाफ आगामी 22 नबम्वर,2019 को  पूरे देश में राज्यस्तरीय धरना और प्रतिरोध का निर्णय किया है| राज्यों में धरना,प्रदर्शन और प्रतिरोध के साथ साथ शिक्षक संगठनों द्वारा MHRD को ज्ञापन भेजा जायगा|


AIFUCTO के महासचिव प्रो अरुण कुमार ने सभी राज्य इकाइयों का आह्वान किया है कि वे शिक्षा नीति के वर्तमान स्वरूप पर अपना सघन प्रतिरोध व्यक्त करें और हरहाल में इसे वापस लेने के लिए केन्द्र सरकार को मजबूर करें| AIFUCTO ने राज्य संगठनों से अपील किया है कि MPhil/PhD इन्क्रीमेट,समानरुप से देशभर में 2018 रेगुलेशन को लागू करने और सबों के लिए पुराने पेंशन की बहाली जैसे मुद्दों को भी उठायें|


AIFUCTO का 30वाॅ परिनियत राष्ट्रीय सम्मेलन 7-9 दिसम्बर 2019 को भुवनेश्वर, उडीसा में होने जा रहा है,महासचिव प्रो अरुण कुमार ने सभी राज्य संगठनों से आह्वान किया हैकि राष्ट्रीय अधिवेशन में बडी संख्या में भाग लें, जहाँ शिक्षा नीति के साथ साथ प्रोफेशनल मुद्दों पर गंभीर चर्चा की जायगी तथा भविष्य के आंदोलनों को अंतिम रुप दिया जायगा|


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