विजेताओं छात्रों को मिला कोरिया यात्रा का अवसर


 मो. अनस सिद्दीकी


नई दिल्ली। कोरियन कल्चरल सेंटर ने चौथा कोरिया इंडिया फ्रेंडशिप क्विज कॉम्पीटीशन का आयोजन एन.सी.यू.आई. ऑडिटोरियम में किया जिसका उद्देश्य भारत और दक्षिण कोरिया के संबंधों को और भी सुदृढ़ करना था| इस साल दिल्ली एनसीआर के 60 स्कूलों के कुल 23,433 छात्रों ने प्रतियोगिता में भाग लिया| कार्यक्रम में कोरियाई गणराज्य के राजदूत शिनबोंग कील,  कोरियन कल्चरल सेंटर के निदेशक किमकुम-प्योंग और लगभग 600 से ज़्यादा छात्र शामिल रहे।


प्रतियोगिता के तीन स्तर थे। जिसमें सेमीफाइनल राउंड में 600 छात्रों में से 24 को चुना और प्रतियोगिता के अंतिम राउंड के लिए 8 छात्रों को चुना गया। प्रथम 4 विजेताओं को 6 दिनों और 5 रातों के लिए कोरिया जाने का अवसर मिला, अन्य 20 विजेताओं को ट्रॉफी के साथ 51,000 इनाम राशि मिली।


किम कुम प्योंग - कोरियन कल्चरल सेंटर इंडिया के निदेशक ने कहा “भारत और कोरिया के बीच सांस्कृतिक और व्यावसायिक सम्बन्ध काफी अच्छे है और दोनों देशों के बीच युवा आधार को यह कार्यक्रम और भी मजबूती देगा।


मुख्य अतिथि कोरियाई गणराज्य के राजदूत शिनबोंग कील ने विजेताओं को जीत की बधाई दी और कहा की भारतीय छात्र कोरिया की तह तक जानकारी रखते है, छात्रों के उत्साह ने उन्हें हैरान कर दिया| उन्होंने यह भी कहा की दोनों देशों की युवा पीढ़ी इस रिश्ते को और भी मजबूत दिशा देगी।


प्रथम स्थान पर रहे बिरला विद्या निकेतन के अक्षत सिंहने बताया की वह पिछले 1 माह से इस प्रतियोगिता के लिए कड़ी मेहनत कर रहे थे। आज इस सफलता सेवो और उनके परिवार जन बहुत खुश है।


दूसरे नंबर पर शेख सराय के ऐ.पी.जय. स्कूल के देवांश पंवार रहे, मयूर विहार के ऎमिटी इंटरनेशनल स्कूल से सौमिक शाश्वत तीसरे स्थान पर रहे, और वसंत कुंज के दिल्ली पब्लिक स्कूल से दिवांशी वशिष्ट चौथे स्थान पर रही। दिवांशी ने बातचीत करते हुए बताया की वह पिछले ३ साल से इस प्रतियोगिता में हिस्सा ले रही थी, और अब विजेता बन कोरिया जाने के लिए बहुत उत्साहित हैं।


क्विज़ 2016 में लगभग 12505 छात्रों ने हिस्सा लिया था। इस वर्ष छात्रों की बड़ी भागीदारी ने काफी अच्छा मुकाबला दिखाया। छात्र न केवल के-पॉप, के-ड्रामा और कोरियन स्वादिष्ट भोजन जैसे विषयों पर ज्ञान रखते  थे,  बल्कि भारत में कई कोरियन कंपनी की उपस्थिति के बारे में भी जानते थे।


स्प्रिंग डेल्स स्कूल (धौला कुआँ), के .आर. मंगलम वर्ल्ड स्कूल (ग्रेटर कैलाश), ऎमिटी स्कूल और डी.पी.एस स्कूल आदि इस प्रतियोगिता का हिस्सा रहे।